साधु और चूहा : पंचतंत्र की कहानी

इस लेख में हम बात करेंगे कि कैसे भोजन चोरी करने वाले चूहे से हमें आत्मविश्वास की महत्वता सीखनी चाहिए। जानिए कि चंचलता और साहस के माध्यम से हम नेगेटिविटी को कैसे परास्त कर सकते हैं और सकारात्मक दिनचर्या को कैसे विकसित कर सकते हैं।
AuthorSmita MahtoJul 5, 2024
Story of Panchtantra for kids

यह कहानी हमें एक मंदिर के पुजारी और एक छोटे से चूहे के बीच का एक चौंका देने वाला एहसास कराती है। पुजारी रोज भोजन को चूहे से चुराया जाता था, लेकिन चूहा हमेशा किसी न किसी तरीके से इसे चोरी कर लेता था। पुजारी ने कई कोशिशों के बावजूद उसे रोकने की कोशिश की, लेकिन चूहा हमेशा बदले में भोजन को चुरा लेता था। एक दिन, जब एक यात्री आया, पुजारी उसे मिलने से पहले चूहे को मारना चाहता था। परंतु इस कहानी का मोरल है कि हमें हमारे समस्याओं को पहचानने के लिए वेब्साइटस की जरुरत होती हैं और आत्मविश्वास के साथ उन्हें परास्त करना चाहिए।

चूहा अपना खोया भारी हृदय और आत्मविश्वास वहां देखकर बहुत ही दुखी हुआ। यह हिम्मत और आत्मभाव की कमी थी जो उसको उसके प्रीतिमा तक पहुंचने से रोक रही थी। उसने समझा कि यदि उसके पास संसाधन रहते तो उसे आत्मविश्वास की कमी नहीं होती और वह ऊँचाईयों को प्राप्त कर सकता था। वह फिर से भोजन चोरी करने का निर्णय लिया, लेकिन इस बार उसे उसे कटोरे तक पहुंचने की शक्ति और आत्मविश्वास नहीं था। पुजारी ने इस अवस्था का फायदा उठाते हुए चूहे पर एक छड़ी से हमला किया, परंतु चूहा फिर से भाग गया। इस कहानी से हमें यह सिख मिलती है कि आत्मविश्वास और चंचलता नेगेटिविटी के खिलाफ हमारी रक्षा कर सकती हैं।

इस कहानी का मुख्य संदेश है कि अपनी कमियों को पहचानने की आवश्यकता होती है, और उन्हें सकारात्मक दिनचर्या में बदलने के लिए उन्हें परास्त करना चाहिए। अगर हम आत्मविश्वास की कमी से पीड़ित होते हैं, तो हम नेगेटिव स्थितियों में अपने आप को ढाल सकते हैं। लेकिन, हमें यह समझना चाहिए कि हमारे पास संसाधनों की कमी होने से हमारी शक्ति और साहस नहीं कम होती है। हमें केवल आत्मविश्वास के माध्यम से अपनी ही आवश्यकताओं को पूरा करने की क्षमता प्राप्त होती है।

यदि हम अपने प्रतिस्पर्धी के बारे में ध्यान से विचार करें, तो हम ऊपरवाले द्वारा प्रदत्त संसाधनों पर अधिक ध्यान केंद्रित करने से खुश रहेंगे। इसे संबोधित करें और खुद को परास्त करें और शक्ति और आत्मविश्वास की अभिकाम्यता का अनुमान लें और हमेशा पोजिटिव हों।

इस प्रकार, हमें यह याद रखना चाहिए कि हमारे पास संसाधनों की कमी से हमारी शक्ति और साहस नहीं कम होती हैं। हमें आत्मविश्वास की खोज करनी चाहिए और सकारात्मक दिनचर्या को विकसित करने की कोशिश करनी चाहिए। यह हमें अद्यतन और मंदिर खोजने में मदद करेगी, जहां हम अपने अंदर की शक्ति को पहचान सकते हैं और ऊँचाईयों को प्राप्त कर सकते हैं।  

आत्मविश्वास और सकारात्मक दिनचर्या से हम किसी भी परिस्थिति में सफलता प्राप्त कर सकते हैं। हमें संसाधनों की कमी से घबराहट नहीं होनी चाहिए, बल्कि हमें अपनी आत्मविश्वास और क्षमता पर भरोसा रखना चाहिए। अपना आत्मविश्वास बनाए रखने के लिए हमें रोज ध्यानाभ्यास करना चाहिए, सकारात्मक लोगों के साथ समय बिताना चाहिए, और स्वस्थ और सकारात्मक दिनचर्या के लिए अपने शरीर का ध्यान रखना चाहिए।

आखिरकार, हमें यह याद रखना चाहिए कि चूहे की प्रेरणा से हमें अपनी अद्भुत शक्तियों और आत्मविश्वास की खोज करनी चाहिए। हमें आत्मविश्वास बनाए रखना चाहिए, अपनी कमियों को पहचानना चाहिए, और सकारात्मक दिनचर्या विकसित करने का प्रयास करना चाहिए। इसे करने से हम अपने लक्ष्यों को प्राप्त कर सकेंगे और सफलता की ऊँचाईयों को छू सकेंगे।

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