मां लक्ष्मी की आरती ( Maa Laxmi Ji Ki Aarti )

AuthorSmita MahtoNov 17, 2023

मां लक्ष्मी की आरती- ( Maa Laxmi Ji Ki Aarti )

 

ॐ जय लक्ष्मी माता, मैया जय लक्ष्मी माता
तुमको निशदिन सेवत, मैया जी को निशदिन सेवत हरि विष्णु विधाता
ॐ जय लक्ष्मी माता-2

उमा, रमा, ब्रह्माणी, तुम ही जग-माता
सूर्य-चन्द्रमा ध्यावत, नारद ऋषि गाता
ॐ जय लक्ष्मी माता-2

दुर्गा रूप निरंजनी, सुख सम्पत्ति दाता
जो कोई तुमको ध्यावत, ऋद्धि-सिद्धि धन पाता
ॐ जय लक्ष्मी माता-2

तुम पाताल-निवासिनि, तुम ही शुभदाता
कर्म-प्रभाव-प्रकाशिनी, भवनिधि की त्राता
ॐ जय लक्ष्मी माता-2

जिस घर में तुम रहतीं, सब सद्गुण आता
सब सम्भव हो जाता, मन नहीं घबराता
ॐ जय लक्ष्मी माता-2

तुम बिन यज्ञ न होते, वस्त्र न कोई पाता
खान-पान का वैभव, सब तुमसे आता
ॐ जय लक्ष्मी माता-2

शुभ-गुण मन्दिर सुन्दर, क्षीरोदधि-जाता
रत्न चतुर्दश तुम बिन, कोई नहीं पाता

समाप्त

लक्ष्मी जी, हिन्दू धर्म की देवी हैं, जो समृद्धि, धन, और ऐश्वर्य की देवी के रूप में पूजी जाती हैं।

उन्हें चंदन, कुमकुम, और सुगंधित फूलों से सजाकर और पुष्पमाला देकर पूजने से भक्तों को आनंद, शांति, और समृद्धि प्राप्त होती है।

लक्ष्मी पूजा और आरती को विशेष महत्व है, क्योंकि इससे घर में धन और ऐश्वर्य की वृद्धि होती है और व्यापार में सफलता मिलती है।

लक्ष्मी जी की पूजा का विशेष समय होता है, जो हिन्दू पंचांग के अनुसार निर्धारित किया जाता है।

आरती के द्वारा भक्त लक्ष्मी माता की कृपा को प्राप्त करते हैं और उनके आशीर्वाद से उनका जीवन समृद्धि भरा बनता है।

लक्ष्मी जी की पूजा में धन्य अक्षता, सुगंधित दीपक, और स्वर्ण आरती के प्रदर्शन करना भी महत्वपूर्ण है, जो उनकी कृपा को आकर्षित करता है।

यह पूजा विशेष रूप से दीपावली के दिन मनाई जाती है, जब लोग अपने घरों को दीपों से सजाकर लक्ष्मी माता का स्वागत करते हैं।

लक्ष्मी पूजा के दौरान मन्त्र जाप, श्लोक रचना, और भजन गायन का आयोजन भी किया जाता है, जो आत्मा को शांति प्रदान करता है।

पूजा में धन और समृद्धि की प्राप्ति के लिए भक्त अपनी ईमानदारी और सच्ची प्रार्थना के साथ लक्ष्मी माता के सामीप्य को प्रशंसा करते हैं।

लक्ष्मी पूजा से न केवल व्यक्ति का आर्थिक स्थिति मजबूत होती है, बल्कि वह भगवान की कृपा में सदैव रहता है और सफलता की पथ पर अग्रसर होता है।